राज्य

There were 9 people in the van; GPS showed the wrong direction, the van drowned in the river……

चित्तौड़गढ़ में बुधवार देर रात एक बजे जीपीएस ने तीन साल से बंद टूटी पुलिया का रास्ता दिखा दिया। ऐसे में 9 लोगों से भरी वैन बनास नदी में बह गई। हादसे में एक बच्ची और दो महिलाओं की मौत हो गई, जबकि एक बच्ची अभी भी लापता है। 5 लोगों को गांव वालों की मदद

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हादसा कपासन में राशमी थाना क्षेत्र के सोमी-उपेरड़ा पुलिया पर रात 1 बजे हुआ। मरने वालों की पहचान चंदा (21) पत्नी हेमराज, चंदा की बेटी खुशी और ममता (25) पत्नी मदन के रूप में हुई है। जबकि 6 साल की बच्ची रुत्वी की तलाश की जा रही है। पीड़ित परिवार चित्तौड़गढ के भूपालसागर का रहने वाला है। वे भीलवाड़ा में सवाई भोज के दर्शन के लिए जा रहा था।

लोगों का कहना है कि उन्हें रास्ते पर पानी भरा होने की बात बताई थी लेकिन ड्राइवर गूगल मैप के बताए रास्ते पर चला गया। लोकेशन उन्हें बनास नदी पर 3 साल से बंद पुलिया पर ले गई। पानी के वेग के कारण वैन टूटी हुई पुलिया से 300 मीटर दूर तक बह गई। ड्राइवर मदनलाल कांच तोड़कर वैन की छत पर चढ़ गया और 5 लोगों को छत पर खींच लिया।

इस दौरान गांव वालों ने उन्हें बचा लिया। तब तक गाड़ी गहराई में चली गई। ड्राइवर ने पुलिस को सूचना दी। एनडीआरएफ टीम पहुंची लेकिन अंधेरा होने के कारण रेस्क्यू शुरू नहीं किया जा सका। सुबह दो महिलाओं और बच्ची का शव निकाला जा सका। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भेज दिया है।

जीपीएस हमें रास्ता बता सकता है, किसी खतरे से अलर्ट नहीं करता

जीपीएस हर वो रास्ता दिखाता है, जहां थोड़ा सा भी मूवमेंट होता है। ऐसे में अनजान रास्ता हो तो वाहन चालकों को सावधानी बरतनी चाहिए। गूगल हमेशा रि-डायरेक्शन और शॉर्टकट बताता है। यही हादसे का बड़ा कारण है। जीपीएस हमारा सहायक है, लेकिन हमारी निर्भरता इन पर बढ़ रही है। हम इनके सहायक जैसे होते जा रहे हैं। जीपीएस सुरक्षा की जगह शॉर्ट कट और स्पीड को प्राथमिकता देता है। संकरे रास्ते पर पानी भरा है लेकिन जीपीएस रास्ता दिखाता है पर किसी खतरे को लेकर अलर्ट नहीं देता है।

जालोर में नदी में बह गए थे 6 दोस्त, चार के शव मिले, पहचान नहीं हुई

जालोर के सायला थाना क्षेत्र के आसाणा गांव में मंगलवार शाम 4 बजे 6 युवक सुकड़ी नदी में बह गए थे। बुधवार सुबह फिर सर्च अभियान में चार युवकों के शव मिले हैं। नदी में जगताराम, मनोहर सिंह, जितेंद्रसिंह, श्रवण कुमार, उमाराम और श्रवण कुमार बह गए थे। इनमें से 4 शवों को बाहर निकाला गया है। हालांकि अभी प्रशासन ने यह पुष्टि नहीं कि है कि जिनके शव मिले हैं वे कौन हैं। बाकी दो लोगों की तलाश की जा रही है।

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