देश की टॉप-10 कंपनियों में से 8 का मार्केट कैप 1.72 लाख करोड़ रुपये बढ़ा, अंबानी की कंपनी सबसे…

M-Cap of Top 10 Most Valued Firms: देश की आठ सबसे वैल्यूऐबल कंपनी का मार्केट कैप पिछले हफ्ते शेयर बाजार में कारोबार के दौरान कुल मिलाकर 1,72,148.89 करोड़ रुपये तक बढ़ी. इसमें सबसे ज्यादा फायदा रिलायंस इंडस्ट्रीज को हुआ है. पिछले हफ्ते बीएसई बेंचमार्क 709.19 अंक या 0.87 तक उछला. टॉप-10 वैल्यूऐबल कंपनियों में रिलायंस इंडस्ट्रीज, टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS), भारती एयरटेल, ICICI बैंक, इंफोसिस, हिंदुस्तान यूनिलीवर लिमिटेड, भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) और बजाज फाइनेंस शामिल रहे.
हालांकि, HDFC बैंक और भारतीय स्टेट बैंक के वैल्यूएशन में गिरावट आई है. वहीं, हिंदुस्तान यूनिलीवर का मार्केट कैप 34,280.54 करोड़ रुपये बढ़कर 6,17,672.30 करोड़ रुपये हो गया. भारती एयरटेल का वैल्यूएशन भी 33,899.02 करोड़ रुपये बढ़कर 11,02,159.94 करोड़ रुपये तक पहुंच गया. इसी तरह से बजाज फाइनेंस के वैल्यूएशन ने भी 20,413.95 करोड़ रुपये की बढ़त हासिल की है और अब यह 5,55,961.39 करोड़ रुपये हो गया है.
इन आईटी कंपनियों ने भी कमाया मुनाफा
पिछले हफ्ते शेयरों के बेहतर कारोबार के साथ इंफोसिस का मार्केट कैप 16,693.93 करोड़ रुपये बढ़कर 6,18,004.12 करोड़ रुपये हो गया, जबकि टीसीएस का बाजार पूंजीकरण 11,487.42 करोड़ रुपये बढ़कर 11,04,837.29 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है.
बैंकों का मिला-जुला प्रदर्शन
आईसीआईसीआई बैंक के मार्केट वैल्यूएशन में 6,443.84 करोड़ रुपये का बढ़ोतरी हुई है, जिससे यह 10,25,426.19 करोड़ रुपये हो गया. वहीं, एचडीएफसी बैंक का बाजार पूंजीकरण 20,040.7 करोड़ रुपये घटकर 15,08,346.39 करोड़ रुपये रह गया. भारतीय स्टेट बैंक का भी मार्केट वैल्यूएशन 9,784.46 करोड़ रुपये घटकर 7,53,310.70 करोड़ रुपये पर आ गया. हालांकि, एलआईसी का मार्केट कैप 822.25 करोड़ रुपये बढ़कर 5,62,703.42 करोड़ रुपये हो गया.
RIL अपने पोजीशन पर बरकरार
इसी के साथ रिलायंस इंडस्ट्रीज देश की सबसे वैल्यूऐबल कंपनी बनी रही. उसके बाद एचडीएफसी बैंक, टीसीएस, भारती एयरटेल, आईसीआईसीआई बैंक, भारतीय स्टेट बैंक, इंफोसिस, हिंदुस्तान यूनिलीवर, एलआईसी और बजाज फाइनेंस का स्थान रहा.
अगले हफ्ते मार्केट की चाल
भारतीय शेयर बाजार में अगले हफ्ते कारोबार की शुरुआत सकारात्मक रूख के साथ हो सकती है क्योंकि निवेशकों को अमेरिकी फेड रिजर्व के ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद है. इसके अलावा, डॉलर इंडेक्स में कमजोरी और वैश्विक बाजारों के मजबूत प्रदर्शन के भी असर की संभावना है. हालांकि, निवेशकों को इस बात का भी ख्याल है कि भारतीय आयात पर अमेरिकी टैरिफ की डैडलाइन नजदीक आ रही है.
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