Demand for environmental protection | पर्यावरण संरक्षण को लेकर मांग: पीओपी की गणेश मूर्तियों का…

गणेश चतुर्थी पर पीओपी की बनी गणेश भगवान की मूर्तियों के विसर्जन ने पर्यावरण संकट खड़ा कर दिया है। इसी मुद्दे को लेकर जिले के एक सरकारी अधिकारी ने लोकसभा की याचिका समिति में रिट दायर की, जिसे याचिका समिति ने स्वीकार कर लिया है। वहीं याचिका में विकल्प क
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दरअसल, हनुमानगढ़ जंक्शन कृषि उपज मंडी समिति सचिव पंडित विष्णुदत्त शर्मा ने याचिका भेजकर पीओपी मूर्तियों के जल विसर्जन पर रोकने एवं पर्यावरण संरक्षण को लेकर मांग उठाई है। मंडी समिति सचिव ने बताया कि गणेश चतुर्थी पर देशभर में जगह-जगह भगवान गणेश की स्थापना और पूजा की जाती है। इन मूर्तियों का जल विसर्जन किया जाता है, लेकिन समय के साथ मूर्तियों के स्वरूप में बदलाव ने पर्यावरण का संकट पैदा हुआ है।
याचिका में कहा गया है कि प्लास्टर ऑफ पेरिस (पीओपी) से बनी गणेश मूर्तियां पानी में घुलती नहीं हैं। इससे जल प्रदूषण बढ़ता है और जलीय जीव-जंतुओं का जीवन संकट में पड़ जाता है। याचिका के अनुसार, मूर्तियों में प्रयुक्त जहरीले रंग (लेड, क्रोमियम, कैडमियम आदि) पानी में घुलकर मछलियों और दूसरे जीवों को मार देते हैं। इससे मानव स्वास्थ्य पर भी प्रतिकूल असर पड़ता है। पंडित शर्मा के निर्देशन में विभिन्न गोशालाओं में गोबर से गणेश की 40 हजार प्रतिमाएं बनाई गई हैं।