In eight months, 16 lands worth more than 200 crores were freed from land mafia, no case, no…

शहर में भूमाफिया बेलगाम हैं। वे सरकारी जमीनों पर कब्जे और निर्माण कर रहे हैं। इनके आगे उदयपुर विकास प्राधिकरण (यूडीए) भी बेबस दिख रहा है। अधिकारी शिकायत पर ही नींद से जागते हैं और अतिक्रमण हटाते हैं। खास बात ये है कि अतिक्रमण करने वालों पर कोई केस या
.
दैनिक भास्कर ने कार्रवाइयों की पड़ताल की। सामने आया कि इस साल 8 महीने में यूडीए ने 200 करोड़ से ज्यादा कीमत की अपनी 16 जमीनें भूमाफियाओं से छुड़ाई हैं। इन पर बाउंड्री वाल, मकान-दुकानों जैसे निर्माण कर लिए गए। तब तक अफसरों को कुछ नहीं दिखा। शिकायतें हुईं, तभी बुलडोजर चले। ठोस कानूनी कार्रवाई नहीं होने से भूमाफिया फिर से सक्रिय हो रहे हैं।
अतिक्रमण रोकने के लिए सर्वे जारी, पूरा होने पर क्लिक पर होगा जमीनों का डेटाः आयुक्त राहुल जैन ने बताया कि यूडीए के अधीन अभी 136 गांव हैं। ये अब बढ़ कर 200 हो जाएंगे। इन सभी में बिलानाम और चरागाह जमीनें सरकारी हैं। इन पर निगरानी रखने के लिए महज 13 पटवारी है। यानी 10 गांवों पर एक पटवारी। ऐसे में सभी जमीनों पर निगरानी संभव नहीं है।इसके लिए मास्टर प्लान के तहत जिले का सर्वे करवाया रहे हैं। यह पूरा होने के बाद यूडीए के खातों की सभी जमीनों की मैपिंग की जाएगी। फिर इनकी जानकारी ऑनलाइन मिल जाएगी। शिकायत पर ही क्यों जागते हैं? जवाब में आयुक्त जैन ने कहा- सरकारी जमीनों के बारे में ग्रामीणों को जानकारी रहती है। वहां अतिक्रमण होने वे शिकायत दर्ज करते हैं और विभाग कार्रवाई करता है।