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Naresh Meena’s bail plea accepted by High Court | नरेश मीणा की हाईकोर्ट से जमानत याचिका मंजूर:…

झालावाड़ में स्कूल हादसे के विरोध में प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तार हुए नरेश मीणा को हाईकोर्ट से जमानत मिल गई है। जस्टिस अशोक कुमार जैन की अदालत ने नरेश को जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया है।

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नरेश मीणा ने हादसे के विरोध में झालावाड़ हॉस्पिटल के बाहर अपने समर्थकों के साथ विरोध-प्रदर्शन किया था। जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने मौखिक टिप्पणी करते हुए कहा कि क्या धरना-प्रदर्शन करना भी अपराध है।

नरेश मीणा के साथी आरडी गुर्जर ने बताया कि अब संभवत जमानत की कागजी कार्रवाई पूरी होने के बाद नरेश मीणा शनिवार तक जेल से बाहर आ जाएगा। अभी नरेश मीणा झालावाड़ जेल में बंद है। गुरूवार को हाईकोर्ट जयपुर से इस मामले में जमानत मिल गई है। मीणा करीब डेढ़ माह से जेल में बंद है। नरेश मीणा की जमानत याचिका हाईकोर्ट में मंजूर होने के बाद उनके समर्थकों में खुशी की लहर है। पहले से चल रहा था धरना नरेश के वकील फतेहराम मीणा और रजनीश गुप्ता ने कोर्ट को बताया- घटना वाले दिन (25 जुलाई) अस्पताल के बाहर पहले से धरना-प्रदर्शन चल रहे थे। नरेश दोपहर बाद अस्पताल पहुंचा और धरने में शामिल हुआ। पुलिस ने उसी दिन नरेश मीणा को शांति भंग के आरोप में गिरफ्तार कर लिया।

वहीं, अगले दिन झालावाड़ जिला अस्पताल के मेडिकल सुपरिडेंट ने मेडिकल फेसेलिटी में बाधा डालने, एंबुलेंस और आईसीयू स्टॉफ को अस्पताल में जाने से रोकने का मामला दर्ज कराया। इस पर पुलिस ने 26 जुलाई को नरेश को थाने से ही गिरफ्तार कर लिया।

सरकार ने कहा- नरेश की आपराधिक पृष्ठभूमि रही

गुरुवार को सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से कहा गया कि नरेश की आपराधिक पृष्ठभूमि रही हैं। इसके जवाब में नरेश के वकील ने कहा कि हमें 12 मामलों में बरी किया जा चुका है। वहीं, जो मामले लंबित है, वे सभी राजनीतिक मुकदमे हैं।

इस पर सरकार की ओर से कहा गया कि नरेश को समरावता हिंसा में बेल शर्तों के साथ दी गई थी। इस पर कोर्ट ने कहा कि क्या धरना-प्रदर्शन करना भी अब अपराध हो गया हैं।

बता दें कि झालावाड़ में 25 जुलाई को पिपलोदी सरकारी स्कूल की बिल्डिंग का हिस्सा गिरने से 7 बच्चों की मौत हो गई थी। इस घटना के बाद नरेश मीणा SRG हॉस्पिटल के बाहर प्रदर्शन करने पहुंचे थे।

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