There is an atmosphere of happiness in the medical college and the city | मेडिकल कॉलेज व शहर…

बाड़मेर मेडिकल कॉलेज के प्रथम बैच (2019) के 11 स्टूडेंट्स का एक साथ पहले ही प्रयास में पीजी में चयन हुआ। इसमें दो स्टूडेंट्स बाड़मेर शहर के हैं। नेशनल बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन इन मेडिकल साइंसेज (एनबीई) की ओर से जारी रिजल्ट के बाद मेडिकल कॉलेज व शहर में ख
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बाड़मेर के डॉ. मनजीत खत्री व राहुल सोनी का फर्स्ट अटेम्प्ट में चयन हुआ है। डॉ. खत्री ऑल इंडिया में 3576 रैंक तथा डॉ. सोनी 6300 रैंक हासिल की। कॉलेज के 5 स्टूडेंट्स ऐसे हैं जिनका मेडिकल ऑफिसर व पीजी दोनों प्रतियोगी परीक्षाओं में पहले प्रयास में चयन हुआ है। इनमें डॉ. खत्री, डॉ. सोनी, डॉ. नेहा शर्मा, डॉ. निधि शर्मा, डॉ. पराग स्वर्णकार, डॉ. लव गुप्ता रहे।
बाड़मेर के डॉ. सोनी ने मेडिकल ऑफिसर बनने के बाद पीएचसी मीठड़ा में पदभार ग्रहण किया है। कॉलेज से एमबीबीएस व इंटर्नशिप के बाद पहले प्रयास में डॉ. कशिश, डॉ. फेमिदा, डॉ. अब्बाश, डॉ. गार्गी व डॉ. छिव का पीजी में चयन हुआ है।
इससे पहले 14 मई को राजस्थान यूनिवर्सिटी ऑफ हेल्थ एंड साइंसेज (आरयूएचएस) की ओर से जारी रिजल्ट में मेडिकल काॉलेज के 12 स्टूडेंट्स का पहले ही प्रयास में मेडिकल ऑफिसर के पद पर चयन हुआ है। इसमें बाड़मेर बायतु की डॉ. विद्या, डॉ. हर्षिता पंडित, डॉ. महेंद्र गुजर, डॉ. मनीष गुजर, डॉ. विकास विश्नाई, डॉ. शिव नारायण, डॉ. कनिका सिंह खीची का मेडिकल ऑफिसर के पद पर चयन हुआ।
डॉ. सोनी का पीजी में पहले प्रयास में चयन
शहर के कल्याणपुरा मार्ग नं. 3 निवासी डॉ. राहुल सोनी का कहना है कि कॉन्सेप्ट क्लियर कर नियमित पढ़ाई से सफलता हासिल की। डॉ. सोनी का नीट, मेडिकल ऑफिसर व पीजी में पहले प्रयास में चयन हुआ। इसके लिए कॉलेज में एमबीबीएस की रेगुलर क्लासेज अटेंड कीं। द्वितीय वर्ष से ही ऑनलाइन पढ़ाई जारी रखी।
अस्पताल में क्लीनिकल पोस्टिंग में काफी टॉपिक क्लियर किए। कॉन्सेप्ट क्लियर कर रोजाना 5-6 घंटे पढ़ाई जारी रखी। कॉलेज के आरएमओ प्रोफेसर डॉ. दिनेश परमार, अस्पताल अधीक्षक प्रोफेसर डॉ. हनुमानराम चौधरी सहित शिक्षकों का सहयोग रहा। डॉ. सोनी ने सफलता का श्रेय पिता देवीलाल व माता विद्यादेवी सहित परिजनों को दिया है।
डॉ. खत्री 5 घंटे नियमित अध्ययन करते थे
एमबीबीएस के बाद पहले अटेम्प्ट में सिलेक्ट होकर ऑल इंडिया में 3576 रैंक हासिल करने वाले शहर के महावीर नगर निवासी डॉ. मनजीत खत्री का कहना है कि कॉन्सेप्ट क्लियर कर पढ़ाई जारी रखी। नीट में दूसरे अटेम्प्ट में सिलेक्शन हुआ। कॉलेज में एमबीबीएस की पढ़ाई के साथ ही पीजी की तैयारी शुरू की।
क्लासेज के साथ रोजाना 5-6 घंटे रेगुलर सेल्फ स्टडी जरूरी है। इंटर्नशिप के साथ ही रोजाना 100 मल्टीपल च्वाइस क्वेश्चन की प्रैक्टिस जारी रखी। कोचिंग एप की हेल्प के साथ कॉलेज के प्रोफेसरों का मोटिवेशन काम आया। उन्होंने सफलता का श्रेय पिता हरीश खत्री व माता उषा खत्री को दिया।
“कॉलेज के प्रथम बैच के एक साथ 11 स्टूडेंट्स का पीजी फर्स्ट अटेम्प्ट में चयन होने पर कॉलेज में खुशी का माहौल है। इससे पहले एमओ के पद पर भी पहले प्रयास में कॉलेज के 12 स्टूडेंट्स का चयन हुआ। इनमें 5 स्टूडेंट्स ऐसे रहे, जिनका दोनों परीक्षाओं में चयन हुआ।”
– प्रोफेसर डॉ. दिनेश परमार, आरएमओ मेडिकल कॉलेज, बाड़मेर।