‘शेख हसीना की अवामी लीग के दफ्तर बंद कराएं’, बांग्लादेश की यूनुस सरकार के आरोपों का भारत ने…

बांग्लादेश की मोहम्मद यूनुस सरकार ने आरोप लगाया था कि भारत में शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग के दफ्तर खुले हुए हैं, इन्हें जल्द से जल्द बंद कराया जाए वरना दोनों देशों के बीच संबंध खराब हो सकते हैं. यूनुस सरकार की ओर से लगाए गए आरोपों को भारत के विदेश मंत्रालय ने खारिज किया है. MEA की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि हमें इस बारे में कोई जानकारी नहीं है.
भारत ने क्या दिया जवाब?
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने बुधवार को कहा कि भारत सरकार को ऐसी किसी गतिविधि की जानकारी नहीं है, जोकि भारत के कानून के खिलाफ हो. उन्होंने कहा, ‘सरकार को भारत में अवामी लीग के कथित सदस्यों की ओर से किसी बांग्लादेश विरोधी गतिविधि या भारतीय कानून का उल्लंघन करने वाले किसी भी कार्य के बारे में जानकारी नहीं है. भारत अपने क्षेत्र से किसी भी देश के खिलाफ राजनीतिक गतिविधियों की इजाजत नहीं देता है.’
भारत ने मोहम्मद यूनुस को ही फंसा दिया!
MEA प्रवक्ता ने बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के बयान को गलत करार देते हुए इसे खारिज कर दिया. उन्होंने दोहराया कि भारत की अपेक्षा है कि बांग्लादेश जल्द से जल्द स्वतंत्र, निष्पक्ष चुनाव कराए, ताकि वहां की जनता की इच्छा पता चल पाए. इस तरह चुनाव की मांग कर भारत ने एक तरह से मोहम्मद यूनुस को ही फंसा दिया.
यूनुस सरकार ने क्या दावा किया था?
बांग्लादेश की यूनुस सरकार ने दावा किया था कि शेख हसीना की पार्टी ने दिल्ली और कोलकाता में अपने दफ्तर खोले हैं. इसे बांग्लादेश विरोधी गतिविधियां बताते हुए इस पर कार्रवाई करने की मांग की थी. बांग्लादेश सरकार का कहना है कि अवामी लीग को हमने प्रतिबंधित कर दिया है. इसके साथ ही यूनुस ने भारत के साथ रिश्ते खराब होने और लोगों को भड़काने की खोखली धमकी भी दी थी.
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